तुम खुश किश्मत हो जो हम तुमको चाहते है वरना
हम तो वो है जिनके ख्वाबों मे भी लोग इजाजत लेकर आते है

जरूरी नही हर समय जुबा पर भगवान का नाम आये |वो लम्हा भी भक्ति का होता हैजब इन्सान इन्सान के काम आये ||

ऐ सनम एक तेरी याद है जो लिपटी हुई है मुझसे
वरना मुरझाने के बाद तो फूलो से भी खुशबू जुदा हो जाती है

लोगों को प्यार में नींद नहीं आती
मैंने सोचा मुझे भी प्यार हुआ है
फिर याद आया सोमवार को पेपर है

हज़ारो मैं मुझे सिर्फ़ एक वो शख्स चाहिये
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जो मेरी ग़ैर मौजूदगी मैं, मेरी बुराई ना सुन
सके ll

अख़बार का भी अजीब खेल है सुबह अमीर के चाय का मजा बढाती है
और रात में गरीब के खाने की थाली बन जाती है

किसी शायर से कभी उसकी उदासी की
वजह पूछना
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दर्द को इतनी ख़ुशी से सुनाएगा की प्यार
हो जायेगा

मुझे हाथ की रेखाओं पर इसीलिए विश्वास नहीं है
कैद ये मेरी मुठ्ठी में है क्या खोलेगी किस्मत मेरी

Fashionable बनने के लिए आपको ज्यादा मेहनत करने की जरूरत नहीं है
ये काम आप my को mah you को uh और is को iz लिखकर भी कर सकते है

टूटे हुवे सपनो और रूठे हुवे अपनों ने आज उदास कर दिया
वरना लोग हमसे मुस्कराने का राज पुछा करते थे

मैं सहंम जाता हूँ किसी भी पायल की
आवाज सुनकर !
वो याद आता है जिस बैवफा ने पैरों से
दिल रोंदा था !!

मोहब्बत का असर कुछ इस कदर मैं जिंदा कर देता हूँ
दुश्मनो को भी गले लगा-लगा कर शर्मिंदा कर देता हैं

मोबाइल पर whatsapp और facebook चलाते चलाते समझ आ गया
कि द्रोणाचार्य ने एकलव्य से अंगूठा मांगकर गलती नहीं की थी

कई रास्तों पर चलकर देखा सब जा पहुंचे उसी पड़ाव पर
न गुजरे जो उस पड़ाव से मिल जाए तो चलूँ उस रास्ते पर

हमारा काम इश्क करना.. हम इश्क के मंझे हुए कामगार है,
हमें फर्क नहीं पड़ता.. दिन शनिवार है के इतवार है !!