तुम हक़ीक़त-ए-इश्क़ हों या फ़रेब मेरी आँखों का,
न दिल से निकलते हो न मेरी ज़िन्दगी में आते हो
तुम हक़ीक़त-ए-इश्क़ हों या फ़रेब मेरी आँखों का,
न दिल से निकलते हो न मेरी ज़िन्दगी में आते हो
लड़की उसको प्यार करती हैं, जो उसको छोड़ देता है.
और उसको छोड़ देती हैं जो उनको प्यार करता हैं.
मेरी आँखों के जादु से अभी तुम कहा वाकिफ हो ,
हम उसे भी जीना सिखा देते हे जिसे मरने का शौक हो.
er kasz
तुम मेरी बातों का जवाब नहीं देते तो कोई बात नहीं
मेरी क़ब्र पर जब आओगे तो हम भी ऐसा ही करेंगे..
जब ख्वाबों के रास्ते ज़रूरतों की ओर मुड़ जाते हैं.
तब असल ज़िन्दगी के मायने समझ में आते हैं...!
में तो हर बार पीछे मुड़ कर देखता रहा
वही रास्ते थे वही मंजर था बस एक तुम ही वहाँ से लापता थे
Er kasz
कुछ पल के लीये ही मुझे अपनी बाहों में सुला लो
अगर आँख खुली तो उठा देना अगर ना खुली तो दफ़ना देना
तेरे गरूर को देख कर तेरी तमन्ना ही छोड़ दी हमने
ज़रा हम भी तो देखे कौन चाहता है तुम्हे हमारी तरह.....
किसी के दिल में क्या छुपा है ये बस खुदा ही जानता है
दिल अगर बेनकाब होता तो सोचो कितना फसाद होता
गम इस बात की नहीं कि वो मुकदमा मैं हार गया
मलाल तो बस इतना था कि मेरा गवाह मेरे खिलाफ बयान दे गया
आज रात मैंने अपने दिल से उसका रिश्ता पूछा
कम्बख्त कहता है जितना मैं उसका हूॅ उतना तेरा भी नही ..
मुद्दतों से,
उसके इंतजार में हूँ यारों...
कही पढ़ लिया था,
कि..
सच्ची मोहब्बत लौटकर आती
है......
आँसू निकल पड़े ख्वाब में उसको दूर जाते देखकर,
आँख खुली तो एहसास हुआ इश्क़ सोते हुए भी रुलाता है !
बहुत देर करदी तुमने मेरी धडकनें महसूस करने में
वो दिल नीलाम हो गया जिस पर कभी हकुमत थी तुम्हारी
बीत जाती है जिसकी पूरी रात सिसकियों में,
वो शख्स दिन के उजालों में सारे जहाँ को हँसाता फिरता हैं...!!