बड़े ही अच्छे हुआ करते थे वो दिन
जिनमे तेरा आना जाना लगा रहता था

मरते तो तुझ पर लाखो होगें
मगर मै तो तेरे साथ जिना चाहता हुं सनम

आज दर्द कुछ इस तरह से हो रहा है
कम्बख्त जैसे फिर कभी होगा ही नही

ना तुमने आवाज़ दी ना मैंने मुड़ के देखा
ख़ामोशी चलती रही दरम्यां !!

जहासे तेरी बादशाही खत्म होती है वहासे मेरी नवाबी सुरु होती हे ।

इजाजत हो तो तेरे पास आ जाऊं मै...चाँद के पास भी तो एक सितारा रहता है !

वो पूछते हैं क्या नाम है मेरा
मैंने कहा बस "अपना" कहकर पुकार लो

यूँ ही रूठे रहना तुम हम से
कसम से तुम रूठे हुये भी अच्छे लगते हो...

जरा सा भी नही पिघलता दिल तेरा
इतना क़ीमती पत्थर कहाँ से ख़रीदा

सूनो मेरे किस्से में तुम आते हो
मेरे हिस्से में क्यूँ नहीं आते

आज कल अपना लास्ट सीन तक छुपा लेते हे लोग
दिल क्या ख़ाक दिखायेंगे

दामन पर मेरे पैबंद बहुत हैं
मगर खुदा का शुक्र है धब्बा कोई नहीं

तमाम उम्र चले उनके साथ हमसफर बनकर
फिर भी हर मोड़ पर एक फासला रहा

हर रोज हर वक़्त तेरा ही ख्याल
ना जाने किस कर्ज की क़िस्त हो तुम।

फरियाद कर रही है तरसी हुई निगाह
किसी को देखे हुये अरसा हो गया है