क्या देते किसी को मुस्कुराहट हम अपने अश्कों से ज़ार-ज़ार थे; क्या देते किसी को ज़िंदगी का तोहफा हम तो अपनी मौत से बेज़ार थे।
Like (0) Dislike (0)
क्या देते किसी को मुस्कुराहट हम अपने अश्कों से ज़ार-ज़ार थे; क्या देते किसी को ज़िंदगी का तोहफा हम तो अपनी मौत से बेज़ार थे।
Your Comment