तेरी रूह में मिल जाऊ ऐसे जैसे नमक हो समंदर में बस तेरा ही प्यार समय रहे हमेशा मेरे अंदर में
मै तुझसे कभी कुछ मांगने की खता न करू तेरे लब हस्ते रहे चाहे मैं दुनिया का मज़ाक ही बनू
तू मुझे छोड़ भी जाये तो गम नहीं मुझको जिस्म से नही मैं तेरी रूह से प्यार करू
मुझे न कभी तेरे आँख में कोई आंसू नज़र आये इसके लिए मैं सारे ज़माने से अकेला ही लड़ूँ
न जाने कौन सा जादू तेरे किरदार में है मैं जब भी जनम लू तो बस तेरा ही बनू
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