सुबह-सुबह ही लग गया है खुशियों का मेला; ना रहे कोई ग़म ना आये कोई झमेला; मधुर संगीत पंछियों का है मौसम अलबेला; मुबारक हो आपको यह नया सवेरा। सुप्रभात!
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सुबह-सुबह ही लग गया है खुशियों का मेला; ना रहे कोई ग़म ना आये कोई झमेला; मधुर संगीत पंछियों का है मौसम अलबेला; मुबारक हो आपको यह नया सवेरा। सुप्रभात!
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