वफाओं की बातें की हमने जफ़ाओं के सामने; ले चले हम चिराग़ हवाओं के सामने; उठे हैं जब भी हाथ बदली हैं क़िस्मतें; मजबूर है खुदा भी दुआओं के सामने।
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वफाओं की बातें की हमने जफ़ाओं के सामने; ले चले हम चिराग़ हवाओं के सामने; उठे हैं जब भी हाथ बदली हैं क़िस्मतें; मजबूर है खुदा भी दुआओं के सामने।
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