मैंने गले में सारे ताबीज डाल के देखे हैं पर..
जो तेरी यादों को रोक सके वो धागा मिला ही नहीं..

उम्र गुज़र गई उससे बिछड़े अब मुझे ज़माना हो गया है ....
मेरा ग़म भी बढ़ते - बढ़ते और सुहाना हो गया है !!

नहीं मांगता ऐ खुदा कि,जिंदगी सौ साल
की दे...
दे भले चंद लम्हों की, लेकिन कमाल की दे...!!!
👑KiNg of HeArt❤

हमें पता था तेरी फितरत में है दगावाजी
हमने तो मौहब्बत ईसलिए कि थी शायद तेरी सोच बदल जाये

कितनें अनमोल होतें हैं अपनों क़े रिश्तें भी
क़ोई याद ना बी करें तो इंतज़ार फ़िर भी रेहता हैं

तुझे ही फुरसत ना थी किसी अफ़साने को पढ़ने की
में तो बिकता रहा तेरे शहर में किताबों की तरह

ये कभी मत कहना के वक़्त मेरी मुट्ठी में कैद है
मैंने मुह से वापस निकलते निवाले तक देखे हैं

हमारी कद्र उनको होगी तन्हाईयो में एक दिन,
अभी तो बहुत लोग हैं उनके पास दिल्लगी करने को।।

उसकी मुहब्बत का सिलसिला भी क्या अजीब है,
अपना भी नहीं बनाती और किसी का होने भी नहीं देती....!!

तुम्हें याद कर लूं तो मिल जाती है हर तकलीफ से निजात
लोग युं ही हल्ला करते है दवाई महंगी है

पगली कहती थी कि वो मेरी रग-रग से वाकिफ है,,,
फिर भी मेरे दिल से निकलने का रास्ता नहीं ढुढ़ पाए...

कुछ लड़कियाँ तो इस कदर खूबसूरत होती हैं कि
लड़के अपने मन में ही खुद को रिजेक्ट कर लेते है

अगर अपनी किस्मत लिखने का जरा सा भी हक हो मुझे
तो अपने नाम के साथ पगली हर बार तेरा नाम लिखूं

दोनों की पहली चाहत थी दोनों टूट के मिला करते थे
वो वादे लिखा करती थी में कसमे लिखा करता था

आज फिर तन्हा रात में इंतज़ार है उस शख्स का
जो कहा करता था तुमसे बात न करूँ तो नींद नहीं आती