गुजर गया वक्त जब हम तुम्हारे तल्बगार थे ,
अब जिंदगी बन जाओ तो भी हम कबूल नही करेंगे ।

जिनकी शायरियों में ददँ हौता हे ,वो शायरनही किसी बेवफा का दीवाना होता है "
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कुछ सपनों को पूरा करने निकले थे घर से,किसको पता था कि घर जाना हीएक‪#‎सपना‬बन जायेगा.........

इत्तेफाकन मिल जाते हो जब तुम राह में कभी
यूँ लगता है करीब से ज़िन्दगी जा रही हो जैसे

इतना हक ना दे मुझे, हम मौका परस्त है,
जुल्फों को सुलझाते सुलझाते,लबों को चूम लिया करते

एहसान किसी का वो रखते नहीं मेरा भी लौटा दिया
जितना खाया था नमक, मेरे जख्मो पर लगा दिया

तुझे क्या लगा तु मुझे छोड कर चली जाएगी तो मैं मर जाऊंगा
घंटा अरे पगली लडकी है तु OxyGeN नहीं

ईतर से कपड़ों को महकाना
बड़ी बात नहीं ......
मज़ा तो तब हैं जब खुशबु
आपके किरदार से आये !!!

हमने भी मुआवज़े की अर्जी डाली है साहिब
उनकी यादों की बारिश ने खूब तबाह किया है भीतर तक

गल्हतफ़हमी की गुंजाईश नहीं सच्ची मुहब्बत में
जहाँ किरदार हल्का हो कहानी डूब जाती है

अटूट सत्य दुनियाँ में केले के छिलकों सें ज्यादा लोग
‎लडकियों‬ के बातों‬ पर फिसलते है

रात के इस सन्नाटे में हमने क्या-क्या धोके खाए है
अपना ही जब दिल धड़का तो हम समझे वो आए है

ताज कि फिकर तो बादशाहों को होती हे ,
हम तो आहिर हे , ….
आहिर अपनी सियासत खुद लेकर चलते हे ।

एक छोरी मुझसे बोली एक तो तू Smart Handsome होके भी Single क्यू हैं
मेंने भी बोल दिया संस्कार पगली संस्कार

खुशी में मदहोश और गम में मायूस मत होना
ये वक्त बड़ा खिलाड़ी है हर रोज़ अपनी चाल बदलेगा …